Friday, July 28, 2023

सीपीआई नेता कार्यकर्ताओं के साथ सड़कों पर मणिपुर हिंसा के खिलाफ उतरे

शनिवार 28 जुलाई 2023 15:26 व्हाट्सएप से मिली 

हिंसा तुरंत रुके//मणिपुर सरकार तुरंत बर्खास्त हो-बंत सिंह बराड़  


मोहाली
: 28 जुलाई 2023: (कार्तिका सिंह//कॉमरेड स्क्रीन)::
 

मणिपुर में हुई हिंसक घटनाओं से जहां पूरा देश चिंतित है वहीं पूरी दुनिया की निगाहें इस मामले पर टिकी हुई हैं। भारत की जिस महानता और नारी सम्मान पर हम सभी को गर्व था उस सब को इन वारदातों की खबरों ने मिटटी में मिला दिया है। नवंबर-84 तीन दिनों तक चला था लेकिन मणिपुर का सिलसिला मई महीने से जारी है। इन हिंसक घटनाओं के लिए ज़िम्मेदार तत्वों के ख़िलाफ़ लेखकों, कलाकारों और ट्रेड यूनियनों के साथ-साथ राजनीतिक नेता भी मैदान में हैं। इस विरोध प्रदर्शन के लिए सीपीआई के सीनियर और जुझारू नेता बंत सिंह बराड़ अपने साथियों के साथ सड़कों पर उतर आए हैं। इस विरोध अभियान को जारी रखते हुए आज मोहाली के डिप्टी कमिश्नर कार्यालय के सामने भी जोरदार विरोध और गुस्सा जताया गया। साथी राजकुमार और अन्य नेता भी अपने साथियों के साथ पहुंचे हुए थे। खराब मौसम के बावजूद सीपीआई के साथियों ने इस ज़ुल्म के खिलाफ आवाज उठाई। 

भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीआई) जिला परिषद, चंडीगढ़ और मोहाली द्वारा मणिपुर में महिलाओं और अल्पसंख्यकों पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ मोहाली में डिप्टी कमिश्नर कार्यालय के सामने विरोध प्रदर्शन किया गया, जिसमें कई ट्रेड यूनियन सदस्य, महिला संगठन, लेखक, बुद्धिजीवी, छात्र और बड़ी संख्या में महिलाएं शामिल हुईं। 

इस प्रोटेस्ट के दौरान साथी देवी दयाल शर्मा, राज कुमार, विनोद चुघ, बृज मोहन, गुरनाम सिंह, जतिंदरपाल सिंह, करम सिंह वकील, महिंदरपाल सिंह, शिक्षक नेता रणजीत कौर, सुरजीत कौर कालरा, अमन भोगल, मंजीत कौर मीत, सुखपाल हुंदल, प्रीतम सिंह हुंदल, बलकार सिद्धू, दिलदार, प्रिंस शर्मा, कमलजीत सिंह, बलजीत सिंह, गुरदयाल सिंह, गुरुमीत सिंह और भूपिंदर सिंह ने भी संबोधित किया। 

इन वक्ताओं ने मणिपुर में अल्पसंख्यकों और महिलाओं के खिलाफ हिंसा को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए इसकी कड़ी निंदा की। सीपीआई के राज्य सचिव साथी बंत बराड़ ने कहा कि मणिपुर सरकार दंगों और असुरक्षा को नियंत्रित करने में बुरी तरह विफल रही है और इस सरकार को सत्ता में बने रहने का कोई अधिकार नहीं है। अत: इसे भंग कर के तत्काल राष्ट्रपति शासन लगाया जाना चाहिए। शांति बहाल करने और सांप्रदायिक सद्भाव को तुरंतआम की तरह शांत करके अल्पसंख्यकों और महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए इस जनविरोधी सरकार को हटाने के लिए तत्काल कदम उठाए जाने चाहिए। 

इस पूरे घटनाक्रम पर गंभीर आरोप लगाते हुए भाकपा नेताओं ने कहा कि डबल इंजन वाली यह सरकार जानबूझकर सांप्रदायिक दंगा फैला रही है। पहले गुजरात को नुकसान हुआ और अब मणिपुर जल रहा है। कल पता नहीं किस राज्य का शांति कानून इस सांप्रदायिक आग में जलेगा? 

उन्होंने देश के लोगों से जागरूक होने और जनता की दो ताकतों को पहचानने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि पंजाब की भगवंत मान सरकार को भी तुरंत बाढ़ प्रभावित पंजाबियों का साथ देना चाहिए और बाढ़ प्रभावित पंजाबियों को उचित और उचित मुआवजा देना चाहिए। अंत में आये हुए साथियों का धन्यवाद किया गया तथा मंच संचालन करम सिंह वकील ने अपनी साहित्यिक शैली में किया।

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